Description
प्रेरणा श्रीमाली निर्विवाद रूप से कथक में सक्रिय श्रेष्ठ कलाकारों में से एक हैं। उनकी यह पहली पुस्तक कथक के अनेक तत्त्वों को समझाती और परिभाषित करने की चेष्टा है। यह पुस्तक कथक के रसिकों, कलाकारों और आलोचकों की समझ और संवेदनशीलता बढ़ाने में सहायक सिद्ध होगी।
About the Author:
नृत्यांगना, नृत्य-गुरु एवं कोरियोग्राफर। अंतरराष्ट्रीय समारोहों, नृत्य संगोष्ठियों, सम्मेलनों में सहभागिता और नृत्य-प्रदर्शन।
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