SWARMUDRA 1 & 2 (SET) – ASHOK VAJPEYI
₹400.00
हम अपनी पत्रिका स्वरमुद्रा के इस बृहत् विशेषांक के माध्यम से यही करने की कोशिश कर रहे हैं। उनके संगीत ने अपनी रसिकता के परिसर में सिर्फ़ संगीत प्रेमियों और संगीतवेत्ताओं को ही नहीं, अनेक अन्य अनुशासनों के समर्थ प्रयोक्ताओं को भी शामिल और रसरंजित किया था।
In stock
About the Author:
अशोक वाजपेयी ने छः दशकों से अधिक कविता, आलोचना, संस्कृति-कर्म, कला-प्रेम और संस्था- निर्माण में बिताये हैं। उनकी लगभग 50 पुस्तकें प्रकाशित हैं जिनमें 19 कविता-संग्रह, 9 आलोचना पुस्तकें एवं संस्मरण, आत्मवृत्त और कभी-कभार से निर्मित अनेक पुस्तकें हैं। उन्होंने विश्व कविता और भारतीय कविता के हिन्दी अनुवाद के और अज्ञेय, शमशेर, मुक्तिबोध, भारत भूषण अग्रवाल की प्रतिनिधि कविताओं के संचयन सम्पादित किये हैं और 5 मूर्धन्य पोलिश कवियों हिन्दी अनुवाद पुस्तकाकार प्रकाशित किये हैं। उनकी कविताओं के पुस्तकाकार अनुवाद अनेक भाषाओं में प्रकाशित हैं। अनेक सम्मानों से विभूषित अशोक वाजपेयी ने भारत भवन भोपाल, महात्मा गाँधी अन्तरराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय, रज़ा फ़ाउण्डेशन आदि अनेक संस्थाओं की स्थापना और उनका संचालन किया है। उन्होंने साहित्य के अलावा हिन्दुस्तानी शास्त्रीय संगीत, आधुनिक चित्रकला आदि पर हिन्दी और अँग्रेज़ी में लिखा है।
Weight | 1.8 kg |
---|---|
ISBN | 9789380441771 |
Writer | ASHOK VAJPEYI |
Binding | Paperback |
Pages | 1136 |
Publication date | 20-07-2023 |
Publisher | Setu Prakashan Samuh |
Imprint | Setu Prakashan |
Language | Hindi |
Customer Reviews
There are no reviews yet.
Be the first to review “SWARMUDRA 1 & 2 (SET) – ASHOK VAJPEYI”
You must be logged in to post a review.