LOCKDOWN DIARY By Madan Kashyap
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जैसा कि नाम से जाहिर है, मदन कश्यप की लॉकडाउन डायरी कोरोनाजनित त्रासदी के उन दिनों की दास्तान है जब सब कुछ ठहर गया था। यह दास्तान इस पुस्तक में एक लम्बी, अविच्छिन्न गाथा के रूप में नहीं बल्कि तारीखवार डायरी की शक्ल में, छोटे-छोटे प्रसंगों और अनुभवों के रूप में दर्ज है।
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जैसा कि नाम से जाहिर है, मदन कश्यप की लॉकडाउन डायरी कोरोनाजनित त्रासदी के उन दिनों की दास्तान है जब सब कुछ ठहर गया था। यह दास्तान इस पुस्तक में एक लम्बी, अविच्छिन्न गाथा के रूप में नहीं बल्कि तारीखवार डायरी की शक्ल में, छोटे-छोटे प्रसंगों और अनुभवों के रूप में दर्ज है। डायरी को विधा की तरह बरतते हुए बहुत सारी भाषाओं में बहुत कुछ लिखा गया है लेकिन लॉकडाउन डायरी की सबसे खास बात यह है कि इसमें बेहद असामान्य दिनों का दुखड़ा है। इतना असामान्य कालखण्ड हमारी स्मृति में शायद दूसरा नहीं होगा। जैसा कि बाद में विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट से भी पुष्ट हुआ, कोरोनाजनित त्रासदी की मार सबसे ज्यादा भारत की जनता ने झेली। कोरोना ने पूरी दुनिया में कहर बरपाया पर सबसे ज्यादा मौतें भारत में हुईं। लॉकडाउन के दौरान भूख, इलाज के अभाव और सत्तातन्त्र के निष्ठुर व्यवहार ने आपदा की भयावहता को चरम पर पहुँचा दिया। बिना राज्यों से परामर्श किये और बिना पूर्व सूचना के अचानक घोषित किये गये लॉकडाउन ने सूरत, मुम्बई जैसे औद्योगिक केन्द्रों और अन्य महानगरों से मजदूरों को सामान समेत, भूखे-प्यासे सैकड़ों हजारों किलोमीटर पैदल चलने को मजबूर किया। ऐसे दारुण दृश्य अफ्रीका के विपन्न से विपन्न देश में भी नहीं देखे गये। इसलिए यह कहना गलत नहीं होगा
About the Author:
वरिष्ठ कवि और पत्रकार। अब तक छः कविता-संग्रह- लेकिन उदास है पृथ्वी (1992, 2019), नीम रोशनी में (2000), दूर तक चुप्पी (2014, 2020), अपना ही देश (2016) और पनसोखा है इन्द्रधनुष (2019), कुरुज (2021); आलेखों के तीन संकलन – मतभेद (2002), लहूलुहान लोकतंत्र (2006) और राष्ट्रवाद का संकट (2014) और सम्पादित पुस्तक सेतु विचार: माओ त्सेतुङ प्रकाशित। चुनी हुई कविताओं का एक संग्रह कवि ने कहा श्रृंखला में प्रकाशित। कविता के लिए प्राप्त पुरस्कारों में शमशेर सम्मान, केदार सम्मान, नागार्जुन पुरस्कार और बनारसी प्रसाद भोजपुरी सम्मान उल्लेखनीय कुछ कविताओं का अंग्रेजी और कई अन्य भाषाओं में अनुवाद। हिन्दीतर भाषाओं में प्रकाशित समकालीन हिन्दी कविता के संकलनों और पत्रिकाओं के हिन्दी केन्द्रित अंकों में कविताएँ संकलित और प्रकाशित । दूरदर्शन, आकाशवाणी, साहित्य अकादेमी, नेशनल बुक ट्रस्ट, हिन्दी अकादमी आदि के आयोजनों में व्याख्यान और काव्यपाठ देश के कई प्रमुख विश्वविद्यालयों द्वारा आयोजित संगोष्ठियों में भागीदारी। विभिन्न शहरों में एकल काव्यपाठ।
ISBN | 9789392228971 |
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Author | Madan Kashyap |
Binding | Paperback |
Pages | 152 |
Publication date | 25-02-2023 |
Imprint | Setu Prakashan |
Language | Hindi |
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